Wednesday 21 July 2021

राहुल गाँधी और कांग्रेस

 राहुल गाँधी और कांग्रेस

बड़े भाई आदरणीय चंचल जी ने फेसबुक पर बड़ी संजीदगी से "कांग्रेस से लड़ने के लिए कांग्रेस को आगे लाने" की बात की है।

आज कल राजनैतिक हलकों में एक चर्चा और है कि "क्या राहुल गांधी कांग्रेस बना पाएंगे ?"
चंचल जी का कहना है - इनके पुरखों ने ही कब कांग्रेस को बनाया ? गोखले , गांधी , मौलाना , आचार्य नरेन्द्रदेव , पं नेहरू - इन्होंने कांग्रेस नही बनाया , इन लोंगो ने यह मुल्क बनाया और मुल्क ने कांग्रेस बनाया है।
उसी डगर पर राहुल गांधी है , मुल्क बना दो कांग्रेस अपने आप बन जायेगी।
राहुल गांधी कांग्रेस को नहीं बल्कि मुल्क को ठीक करने की कोशिश कर रहे हैं।
राहुल गांधी की चिंता कांग्रेस नही है , मुल्क है ।
वे तमाम बुराइयाँ जो देश को दीमक बनकर चाट रही हैं, कमज़ोर कर रही है, राहुल गांधी उनसे लड़ने की कोशिश कर रहे हैं।
कांग्रेस के अंदर और बाहर कुछ लोग चाहते हैं कि राहुल गांधी भाजपा से लड़ें।
परंतु राहुल गांधी उन बुराइयों से लड़ने की कोशिश कर रहे हैं जिनके दलदल में यह देश धँसता जा रहा है।
BJP से लड़ना उनकी प्राथमिकताओं में नहीं है। जो लोग राहुल गांधी की आलोचना करते हैं उन्हें सबसे पहले कांग्रेस को समझना होगा।
कांग्रेस का राष्ट्रीय चरित्र सत्ता पाना नहीं रहा है , बल्कि सत्ता को माध्यम बनाकर देश बनाना रहा है।
इसीलिए बार बार कांग्रेस के अंदर से ही देश बनाने और देश बचाने की आवाज़ उठती रही है।
जिस इमरजेंसी के नाम पर संघ परिवार कांग्रेस पर आरोप लगाता है उसका विरोध कांग्रेस के अंदर से ही शुरू हुआ। उन लोगों द्वारा शुरू जिनके अंदर कांग्रेस थी। फिर वह चाहे जे पी रहे हों , मोरारजी भाई रहे हो , चंद्रशेखर रहे हो या अन्य।
संघ तो उस समय भी पत्र लिखकर इंदिरा गांधी से माफ़ी माँग रहा था।
आज राहुल गांधी सत्ता के लिए नहीं बल्कि सत्ता के परिमार्जन के लिए लड़ रहे हैं। आज सत्ता का जो स्वरूप हो गया है उसकी विकृतियाँ दूर करने के लिए राहुल गांधी प्रयत्नशील हैं ।
पं नेहरू से बड़ा ताक़तवर नेता इस देश में आज तक नहीं हुआ है, परंतु जब एक बुढ़ी महिला ने उनका कॉलर पकड़ कर कुछ पूछा तब पं नेहरू ने उसे बूढी महिला से मुस्कराते हुए कहा था कि - मेरा कॉलर पकड़ने का अधिकार आपको प्रजातंत्र(कांग्रेस) ने दिया है।
असहमतियों और आलोचनाओं का सम्मान करना हमारा प्रजातंत्र हमको सिखाता है।
आज जब आलोचना , असहमति और मत भिन्नता को अपराध कह कर लोगों को जेल में ठूँसा जा रहा है तब देश को पुन: एक लड़ाई लड़नी होगी।
प्रजातंत्र में जनता देश की राजा है और उसे चौकीदार का कॉलर पकड़ने का पूरा अधिकार है।
यह अधिकार जनता से छीनने की कोशिश की एक गिरोह कर रहा है जो आज सत्ता में है।
राहुल गांधी इस मानसिकता के ख़िलाफ़ संघर्ष कर रहे हैं और करते रहेंगे।
राहुल गांधी की जीत कांग्रेस की जीत नहीं होगी , देश की जीत होगी और राहुल गांधी की हार का तो प्रश्न ही नहीं उठता क्योंकि हमारा देश कभी नहीं हारेगा यह विश्वास हम सब में है।
नमन

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